नई दिल्ली I गृह मंत्री अमित शाह ने इफ्तार पार्टी को लेकर केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह की ओर से की गई टिप्पणी पर कड़ी नाराजगी जताई है और उन्हें हिदायत देते हुए कहा कि इस तरह की शिकायत नहीं आनी चाहिए. रमजान के मौके पर बिहार में इन दिनों कई राजनीतिक दलों की ओर से इफ्तार पार्टी दी जा रही है जिसको लेकर गिरिराज सिंह ने ट्वीट किया था, अब खबर है कि अमित शाह ने इस मुद्दे पर गिरिराज सिंह की जमकर क्लास ली.
सूत्रों के अनुसार, गृह मंत्री अमित शाह ने फोन पर गिरिराज सिंह से इस तरह के बयानों से बचने की सलाह दी और कहा कि भविष्य में इस तरह की कोई शिकायत नहीं आनी चाहिए. दूसरी ओर जेडीयू ने गिरिराज सिंह पर कार्रवाई की मांग कर डाली है.
होली में भी भोज नहीं देते
इफ्तार पर की गई टिप्पणी के बाद गिरिराज सिंह अब अपनी पार्टी के निशाने पर आ गए हैं. मुख्यमंत्री नीतीश कुमार पर कसे तंज के बाद बीजेपी के वरिष्ठ नेता और बिहार के उपमुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी ने गिरिराज सिंह पर निशाना साधाते हुए कहा कि जो लोग तंज कर रहे है वो तो होली में भी भोज नहीं देते, इफ्तार तो दूर की बात है.
उन्होंने कहा, ‘गिरिराज सिंह ने क्या ट्वीट किया है यह हमें नहीं मालूम, लेकिन इतना कह सकता हूं कि मुझे हिंदू होने पर गर्व है, और मैं इफ्तार का आयोजन भी करता हूं और होली मिलन का आयोजन भी करता हूं. माननीय मुख्यमंत्री के घर पर हर साल छठ के खरना का भी आयोजन होता है. हम इफ्तार भी करते हैं और फलाहार भी करते हैं और खरना में भी भाग लेते हैं. जो लोग तंज कस रहे हैं, वो ना तो होली का भोज देते हैं न ही इफ्तार की पार्टी.
केसी त्यागी का पलटवार
गिरिराज की टिप्पणी पर जेडीयू के केसी त्यागी ने पलटवार करते हुए कहा कि उनका आचरण प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सीख ‘सबका विश्वास’ के खिलाफ है. उन्होंने कहा कि वह उन्हें एक तस्वीर भेज रहे हैं, जिसमें पीएम मोदी दुनिया की सबसे खूबसूरत मस्जिद जो अबूधाबी में है और उसके अंदर शेख-ईमाम के साथ दौरा कर रहे हैं. ये सबका साथ और सबका विश्वास का प्रतीक है, उस पर गिरिराज सिंह पर क्या कहेंगे.
इससे पहले, रामविलास पासवान के बेटे और जमुई से सांसद चिराग पासवान ने गिरिराज सिंह को जवाब देते हुए कहा कि लोक जनशक्ति पार्टी के स्थपाना से ही सबका साथ, सबका विकास, सबका विश्वास का मूल मंत्र पार्टी के आत्मा से जुड़ा हुआ है. मुझे खुशी है कि इस मूल मंत्र को आदरणीय @narendramodi जी ने भी दोहराया है. त्योहार मनाने से समाज में समरस्ता आती है. इस तरह के प्रश्न भारत की परम्परा पर उंगलिया उठाते हैं.